सैन्य सम्मान के साथ पंचतत्व में विलीन हुए सैनिक टीका राम
नाहन
सैन्य सम्मान के साथ सैनिक टीका राम पंचतत्व मे विलीन हुए। फरवरी में पांवटा साहिब में सडक़ दुर्घटना में घायल होने के बाद 6 जून को आर० आर० अस्पताल (रैफरल एवं रिसर्च) दिल्ली में आखिरी सांस ली। हिमाचल के सिरमौर जिले के शिलाई तहसील के अंतर्गत झकांडों गांव के लायक राम व गुलाबी देवी के वीर सपूत टीका राम इस तरह अपनों को छोड़ कर दुनिया को अलविदा कह जाएंगे। सैनिक टीका राम 26 पंजाब रेजिमेंट के अतंर्गत पठानकोट में तैनात थे और अपनी यूनिट से जनवरी में नवजात बेटी रघुवंशी एवं पत्नी रवीना से मिलने के लिए छुट्टी लेकर घर आए थे।
दुर्भाग्यवश 10 फरवरी को पांवटा साहिब में वाहन दुर्घटना में बुरी तरह से घायल हो गए। तब उन्हें प्राथमिक उपचार के बाद सैन्य अस्पताल दिल्ली ले जाया गया। तब से लेकर अब तक वे जीवन से जंग लड़ते रहे। पिता लायक राम, माता गुलाबी देबी, पत्नी रवीना एवं नवजात रघुवंशी, भाई जवाहर व दिनेश दिन रात अपने चहेते टीका राम के शीघ्र स्वास्थ्य लाभ की कामना करते रहे और पलके बिछाए अपने लाडले के घर आने की राह देखते रहे। लेकिन इसके विपरीत दुर्घटना से चोटिल सैनिक टीका राम सेन्य अस्पताल दिल्ली में जिंदगी से आखिरी जंग हार गए। जैसे ही यह खबर गांव व क्षेत्र में फैली तो पूरा क्षेत्र अपने वीर सपूत को खोकर गमगीन हो गया। किसे पता था कि 7 महीने की नवजात बेटी रघुवंशी इतनी सी उम्र में ही अनाथ हो जाएगी। देर रात पार्थिव देह को लेकर काफिला गांव पहुंचा तो परिवार का रो- रो कर बुरा हाल था।
सभी लोग इस दुःखद व हृदय विदारक घटना से स्तब्ध थे। प्रातः सैनिक टीका राम की पार्थिव देह को पूरे सैन्य सम्मान के साथ मुखाग्नि प्रदान की गई और एक माटी का लाल सदा के लिए पंचतत्व में विलीन हो गया। सैन्य टुकड़ी ने सैनिक टीका राम को आखिरी सलामी दी। इसमें 26 पंजाब रेजीमेंट से 2 जेसीओ और 4 जवान तथा 1 पैरा रेजिमेंट से 1 जेसीओ व 3 जवान तथा एसएचओ शिलाई मस्त राम ठाकुर तथा 2 जवान शामिल हुए।
इस मौके पर घर परिवार, रिश्तेदारों के अलावा क्षेत्र के हजारों लोगों के अलावा भूतपूर्व सैनिक संगठन पांवटा- शिलाई व अन्य गणमान्य व्यक्ति मौजूद रहे। सभी ने नम आंखों से यही प्रार्थना की कि परमपिता परमेश्वर दिवंगत आत्मा को श्रीचरणों में स्थान दे तथा सम्पूर्ण शोक संतप्त परिवार को इस अथाह दुख सहने की शक्ति प्रदान करे ।
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