पढ़े लिखे लोग भी पीछे नहीं है खुले में कचरा फै कनें में...... डोर- टू -डोर गारेबज स्कीम को लग रहा है झटका

पढ़े लिखे लोग भी पीछे नहीं है खुले में कचरा फै कनें में...... डोर- टू -डोर गारेबज स्कीम को लग रहा है झटका

अरूण साथी 

अक्स न्यूज   लाइन ..नाहन  05  सितंबर  - 2023

शहर में पढ़े लिखे लोग भी खुले में कचरा फेंकना में पीछे नहीं है । आरोप है कि यह बुद्धिजीवी वर्ग सिस्टम को कोसने में कोई कसर नही रखे हैं। पर्यावरण व प्रदूषण जैसे विषयों को लेकर भाषण भी झाड़ रहे है। लेकिन अपने घरों से निकलने वाले कचरे को नप के वाहनों को नही दे रहे हैं ओर अपने घरो के आसपास सड़कों व गलियों में फेंक देते हैं। यही वजह है कि आज नगर परिषद की डोर टू डोर गारेबज स्कीम की झटका लग रहा है। जबकि नगर परिषद स्कीम के तहत बेहतर काम कर रही है।

सफाई कर्मचारियों ने बताया कि लोगों को गिला सुख कचरा अलग अलग नही देते, लोग कहते हैं कि हमारे पास इसके लिए टाइम नही है। सफाई क र्मचारियों को फ टकारने लगते हैं। उधर नगर परिषद के अपने ही सफाई कर्मी कचरा प्रबंधन करने में ढील बरततें है कचरे को दाऐं बाऐं टिकाने लगा रहे है। 

गिला सूखा एक साथ कचरा प्रबंधन नही करते लोग 
नगर परिषद कई साल से लोगों से आग्रह कर रही है कि लोग अपने घरों से  गिला व सूखा कचरा अलग बैग में भर कर दिया करें। लेकिन ऐसा नहीं हो रहा है। पहले तो लोग नप को वाहन में डस्टबिन के जरिए गिला सूखा एक साथ फेंक रहे। कुछ लोग एक बैग में भरकर ला रहे है।  शुल्क न देने वाले खुले में फेंक कर काम चला रहे हैं। गिला व सूखा कचरा अलग अलग  बैग में भरकर देने वालों की संख्या कम ही है। 

- डोर टू डोर गारबेज स्कीम के अच्छे परिणाम मिले हैं। बहुत से लोगों का सहयोग नहीं मिल रहा है। सही काम न वाले सफाई कर्मचारियों से जवाब तलब होगा। 
- अविनाश गुप्ता,उपाध्यक्ष नगर परिषद नाहन