अक्स न्यूज लाइन सोलन 22 जून :
भारतीय जनता पार्टी के प्रदेश प्रवक्ता विवेक शर्मा ने बिलासपुर गोली कांड पर बयान जारी करते हुए कहा, हिमाचल प्रदेश की बिगड़ती कानून व्यवस्था अब "गिरोह युद्ध" अर्थात गैंग वॉर में परिवर्तित हो रही है जो केवल प्रदेश के लिए ही नहीं युवा पीढ़ी के लिए भी घातक साबित होगी। जिसकी नैतिक जिम्मेवारी वर्तमान मित्रों की सरकार के व्यवस्था परिवर्तन को लेनी होगी।
हिमाचल प्रदेश के जिला बिलासपुर का घटनाक्रम इसका प्रमाणित उदाहरण है। जिस प्रकार न्यायालय परिसर में अधिवक्ताओं व न्यायाधीशों के द्वार पर आमजन के समक्ष यह घटनाक्रम घटा है उसने लॉ एंड ऑर्डर के साथ-साथ अनेक प्रश्न भी उत्पन्न किए हैं और जिस तरह से कांग्रेस के पूर्व प्रत्याशी बंबर ठाकुर के परिवार का नाम गैर कानूनी गतिविधियों में सम्मिलित होने के इल्जाम लग रहे हैं व पुलिस स्वयं अपना पक्ष रखने के लिए प्रेस कॉन्फ्रेंस कर रही है। यह अत्यंत चिंता का विषय है और अगर मुख्यमंत्री के 17 माह के कार्यकाल का आकलन किया जाए तो प्रदेश में पूर्व डी.जी.पी के ऊपर FIR हुई।
हिमाचल प्रदेश के मुख्यमंत्री को अपने स्वास्थ्य के संबन्ध में FIR करवानी पड़ी जो हिमाचल प्रदेश की कानून व्यवस्था और राजनीतिक हस्तक्षेप के ऊपर बड़ा प्रश्न उत्पन्न करती हैं।
प्रदेश सरकार अगर अपनी साख बचाना चाहती है और वास्तविकता में न्याय प्रिय उत्तरदाई होना चाहती है तो इससे पूर्व तथ्यों से छेड़छाड़ हो इस पूरे प्रकरण को तुरंत प्रभाव से सी.बी.आई के हवाले कर देना चाहिए क्योंकि ऐसा संभव ही नहीं है कि कांग्रेस के प्रदेश महामंत्री को मुख्यमंत्री बचाने का प्रयास न करें विशेष कर जब वह देहरा विधानसभा के चुनाव प्रभारी भी हो व गत पूर्व की घटनाएं इस बात का प्रमाणित है की मुख्यमंत्री गत लोक सभा चुनाव में चुनाव प्रचार के दौरान स्वयं एक जमानती अपराधी के साथ जो चिट्टा बचने के अपराध पर जमानत पर है के साथ सफर करते पाए गए जो स्वयं इस बात को प्रमाणित करता है कि मुख्यमंत्री अपराधियों के प्रति विशेष लगाव रखते हैं।
मामला केवल लगाव और संरक्षण तक ही सीमित है या उससे आगे, यह भी प्रदेश प्रशासन व पुलिस के लिए जांच करना सहज व संभव नहीं है।
प्रदेश सरकार की इंटेलिजेंस एजेंसियां सी.आई.डी स्वयं इस पूरे प्रकरण में फेल हुई है जिसका प्रमाण पत्र बिलासपुर न्यायालय गोलीकांड है इन परिस्थितियों में यह मामला तुरंत सीबीआई के हवाले होना चाहिए अन्यथा यह माना जाए की प्रदेश सरकार के संरक्षण तले यह सारा घटनाक्रम घट रहा है।
और इस पूरे घटनाक्रम को मुख्यमंत्री का विशेष आशीर्वाद प्राप्त है तो ऐसे में अपराध पर निरंतर नहीं संरक्षण का साया है।
जिसकी भारतीय जनता पार्टी कड़े शब्दों में निंदा करती है वह देश के गृहमंत्री को स्वयं पत्र लिख रही है। कि इसमें जांच हो क्योंकि मामला केवल राजनीतिक संरक्षण तक सीमित नहीं है आम जनता की सुरक्षा वह हिमाचल प्रदेश की संस्कृति पर हमले का भी है।