प्रदेश सरकार हाटी समुदाय को अनुसूचित जनजाति का दर्जा शीघ्र प्रदान करने के लिए प्रतिबद्ध-हर्षवर्धन चौहान

प्रदेश सरकार हाटी समुदाय को अनुसूचित जनजाति का दर्जा शीघ्र प्रदान करने के लिए प्रतिबद्ध-हर्षवर्धन चौहान

अक़्स न्यूज लाइन, नाहन--15 दिसंबर
 उद्योग मंत्री हर्षवर्धन चौहान ने कहा कि केंद्र सरकार द्वारा सिरमौर जिला के ट्रांसगिरि क्षेत्र के हाटी समुदाय को अनुसूचित जनजाति का दर्जा देने के सम्बन्ध में अधिसूचना जारी की गयी लेकिन इस अधिसूचना में अस्पष्टता के चलते प्रदेश सरकार ने केंद्र से स्पष्टीकरण मांगा है। केंद्र द्वारा संपूर्ण हाटी समुदाय को अनुसूचित जनजाति का दर्जा दिया गया है जिसमें अनुसूचित जाति, अन्य पिछड़ा वर्ग व अन्य वर्ग भी शामिल हैं। उन्होंने कहा कि कुछ वर्ग ऐसे हैं जो पूर्व में चली आ रही व्यवस्था का हिस्सा बनकर रहना चाहते हैं। इसके बावजूद केंद्र सरकार की अधिसूचना में सभी को अनुसूचित जनजाति के दायरे में लाया गया है।

हर्षवर्धन चौहान ने कहा कि इस सम्बन्ध में केंद्र सरकार से स्पष्टीकरण मांगा गया है ताकि हाटी समुदाय की समस्याओं एवं मांगों को लेकर शीघ्र समाधान निकाला जा सके। उन्होंने कहा कि प्रदेश सरकार की मंशा स्पष्ट है कि हाटी के लोगों को शीघ्र से शीघ्र अनुसूचित जनजाति से संबंधित लाभ मिल सके। उन्होंने कहा कि प्रदेश सरकार सभी वर्गों को अपना पक्ष रखने का अवसर प्रदान करेगी और उसी के आधार पर आगामी नीति तैयार की जाएगी। उन्होंने कहा कि किसी भी वर्ग का अहित नहीं होना चाहिए इस बात को सरकार सुनिश्चित बनाएगी।
    उद्योग मंत्री ने सभी लोगों से आग्रह किया कि इस मुद्दे को राजनीतिक दृष्टि से न देखें और यह सुनिश्चित करें कि सभी समुदायों में आपसी भाईचारे एवं सौहार्द की भावना बनी रहे। उन्होंने कहा कि प्रदेश सरकार इस मामले की गंभीरता को समझती है और इस मुद्दे पर केंद्रीय नेतृत्व से बात की जायेगी तथा स्थायी समाधान निकाला जाएगा, केंद्र से स्पष्टीकरण मिलते ही अविलंब इसे लागू किया जाएगा।

हर्षवर्धन चौहान ने कहा कि वह आरंभ से हाटी को जनजाति का दर्जा दिलवाने के लिये प्रयासरत रहे हैं। उन्होंने कहा कि वर्ष 1993 में जब वह पहली बार विधायक बने तो उन्होंने ही इस बिल को विधानसभा में पारित करवाया था। यही नहीं 1996-97 में हाटी नाम भी उन्हीं का दिया हुआ है।
गिरीपार हाटी विकास कल्याण मंच के अध्यक्ष प्रताप सिंह जेलदार ने मंत्री का स्वागत किया। उन्होंने प्रदेश सरकार द्वारा ट्रांसगिरी क्षेत्र को अनुसूचित जनजाति का दर्जा प्रदान करने के लिये किए जा रहे प्रयासों के लिए

मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू तथा उद्योग मंत्री हर्षवर्धन चौहान का आभार व्यक्त किया। उन्होंने कहा कि इस मुद्दे को कुछ लोग राजनीतिक चश्मे से देखकर लोगों में भ्रांतियां फैलाने का काम कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि आज इतनी बड़ी संख्या में क्षेत्र के लोग यहां प्रदेश सरकार का आभार जताने के लिये एकत्र हुए है और सरकार से जल्द से जल्द मामले की अस्पष्टताओं को केन्द्र सरकार से दुरूस्त करवाकर अधिनियम को लागू करने के लिये उत्सुक हैं ताकि क्षेत्र को लोगों को सरकार की योजनाओं का लाभ मिल सके और विशेषकर नौजवानों को सरकारी नौकरियों में एसटी का लाभ मिले।  
   

उन्होंने कहा कि समाज में समरसता और सौहार्द बनाकर रखना सर्वोपरी है। इससे किसी प्रकार का समझौता नहीं किया जा सकता। उन्होंने आगाह किया कि राजनीति करने के लिये अन्य मंच मौजूद हैं, लेकिन भोली-भाली जनता को गुमराह करना उचित नहीं है। उन्होंने कहा कि हाटी समिति राजनीति से बाहर रहकर कार्य करती रही लेकिन आज वह इस मुद्दे से भटककर राजनीतिक विचारधारा की ओर अग्रसर है लेकिन गिरीपार विकास कल्याण मंच क्षेत्र के विकास के लिये लगातार कार्य करता रहेगा। मंच ने इस अवसर पर एसडीएम के माध्यम से देश के राष्ट्रपति को एक ज्ञापन भी सौंपा जिसमें अधिनियम की खामियों को दूर करवाकर जल्द से इसका लाभ क्षेत्र को दिलवाने की बात कही गई है।