दिव्यांगता का आकलन मेडिकल बोर्ड द्वारा किया जाता है
अक्स न्यूज लाइन .. कुल्लू , 03 दिसम्बर
कल्लू के लालचंद प्रार्थी कला केंद्र में आज विश्व दिव्यांग दिवस के उपलक्ष में एक कार्यक्रम का आयोजन किया जिसमें उपायुक्त कुल्लू आशुतोष गर्ग ने मुख्य अतिथि के रूप में शिरकत की।
उन्होंने अपने संबोधन में कहा कि दिव्यांगता को सही समय पर पहचान कर प्रारंभिक हस्तक्षेप के माध्यम से दिव्यांगो को भविष्य में आने वाली समस्याओं का समाधान किया जा सकता है।
उन्होंने कहा कि जिला रेड क्रॉस सोसाइटी की ओर से भी आदर्श जिला दिव्यांग पुनर्वास केंद्र में इस तरह की विभिन्न सुविधाएं प्रदान की जा रहीं हैं।
उन्होंने कहा कि रेडक्रॉस कुल्लू द्वारा आदर्श जिला दिव्यांगता पुनर्वास केंद्र कुल्लू के माध्यम से समय समय पर दिव्यांगता पुनर्वास, आंकलन शिविरों का आयोजन किया जाता है। इन शिविरों में दिव्यांगजनों का पंजीकरण किया जाता है तथा जो ऐसे दिव्यांगजन पाए जाएं जिनकी दिव्यांगता का आकलन मेडिकल बोर्ड द्वारा किया जाता है उनकी दिव्यांगता के पुष्टि होने पर उनकी पुनर्वास आवश्यकताओं का आकलन करते हुए व्यक्तियों को सहायक उपकरण उपलब्ध करवाए जाते हैं ।
इसके अतिरिक्त 0 से 6 वर्ष तक की आयु के बच्चे जिनके विकास में देरी पाई जाती है उन्हें चिन्हित कर उन्हें प्रारंभिक हस्तक्षेप यूनिट में रेफर किया जाता है।
इनमें व्यक्तियों की ऑडियोमेट्री करके उनकी सुनने की क्षमता का आकलन किया जाता है तथा उन्हें मेडिकल बोर्ड के सम्मुख प्रस्तुत होने का सुझाव दिया जाता है।
इन शिविरों में दिव्यांगजनों की पहचान की जाती है तथा उन्हें जिला स्तरीय मेडिकल बोर्ड से दिव्यांगता प्रमाण पत्र जारी करने की विस्तृत जानकारी दी जाती है।
शिविरों में उपस्थित लोगों को विकलांगता की शीघ्र पहचान करने, विकलांगता की रोकथाम बारे तथा सरकार द्वारा दिव्यांगजनों को दी जा रही विभिन्न सुविधाओं एवं योजनाओं की विस्तृत जानकारी दी जाती है।
इन शिविरों में स्थानीय निवासी, संबंधित पंचायतों के प्रधान, उपप्रधान, पंचायत सदस्यों, आशा वर्करों व आंगनबाड़ी वर्करों ने की भी भागीदारी सुनिश्चित की जाती है।
उन्होंने दिव्यांगजनों को दी जाने वाली सुविधाओं व योजनाओं को ज़िले के दूरदराज के लोगों तक पहुंचाने का भी अहवाहन किया ताकि कोई भी ऐसा दिव्यांगजन इसके लाभ से वंचित न रहे।
ज़िला कल्याण अधिकार गिरधारी लाल शर्मा ने कल्याण विभाग द्वारा प्रदान की जा रही विभिन्न विभागीय योजनाओं के बारे में जानकारी प्रदान करते हुए कहा कि आज का दिन हम सभी के लिए महत्वपूर्ण है क्योंकि विश्व स्वास्थ्य संगठन के अनुसार विकलांगता शब्द किसी शारीरिक व मानसिक दुर्बलता वह गतिविधि सीमाओं के लिए प्रयोग किया जाता है।
आज भी समाज में दिव्यांगता को एक सामाजिक कलंक के रूप में देखा जाता है जिसे सुधारने की आवश्यकता है। इसके लिए समाज एवं प्रत्येक स्तर पर दिव्यांग लोगों के अधिकारो और कल्याण को बढ़ावा देने के लिए हर साल 3 दिसंबर को विश्व विकलांग दिवस मनाया जाता है।
इसमें हम दिव्यांगों के जीवन को बेहतर बनाते हुए समाज में उन्हें आत्म सम्मान के साथ जीवन जीने तथा उनकी विशिष्ट क्षमताओं के विकास के लिए समग्रता से प्रयास करने पर विचार विमर्श करते हैं।
ज़िला रेडक्रॉस सोसायटी कुल्लू के सचिव वीके मोदगिल ने दिव्यांगता पुनर्वास केंद्र कुल्लू में दी जा रही विभिन्न सुविधाओं की जानकारी प्रदान की।
उपायुक्त ने इस अवसर पर चंद्रआभा मेमोरियल दिव्यांग पुनर्वास केंद्र के बच्चों को पुरस्कृत किया तथा ज़िला रेडक्रॉस सोसायटी की ओर से दिव्यांगजनोंं को व्हीलचेयर तथा श्रवण यंत्र भी प्रदान किए।
इस अवसर पर ज़िला कार्यक्रम अधिकारी समग्र शिक्षा सुरेंदर शर्मा, सांफिया फाउंडेशन की निदेशक रेखा ठाकुर, कार्यक्रम समन्वयक बीजू हिमदल,डा हीरालाल सहित विभिन्न गैर सरकारी संगठनों के प्रतिनिधि भी उपस्थित थे।