मंडी में मनाई गई स्वतंत्रता सेनानी भाई हिरदा राम की जयंती
इस मौके पर हिरदा राम स्मारक समिति मंडी के सचिव कृष्ण कुमार नूतन ने बताया कि क्रांतिकारी भाई हिरदा राम सच्चे देशभक्त थे। क्रांतिकारी भाई हिरदा राम ने देश की स्वतंत्रता के लिए अंग्रेजों की अनेक यातनाएं हंसते हंसते सहीं। मंडी में गदर पार्टी की स्थापना और अंग्रेजों के खिलाफ क्रांति का बिगुल बजाने में उनका योगदान अविस्मरणीय है। भाई हिरदा राम सदा अमर रहेंगे।
उपमहापौर माधुरी कपूर ने कहा कि भाई हिरदा ऐसे सपूत रहे हैं, जिनके कारण आज हम आजादी की खुली हवा में सांस ले रहे हैं। उन्होंने साहित्यकार केके नूतन का धन्यवाद करते हुए कहा कि उन्होंने भाई हिरदा राम को मरणोपरांत अमर कर दिया। उन्होंने कहा कि भाई हिरदा राम कालापानी में आजीवन कारावास की सजा भुगतते हुए स्वतंत्रता सेनानी वीर सावरकर के साथ जेल में रहे। 28 नवंबर 1885 को मंडी में जन्मे भाई हिरदा राम का 21 अगस्त, 1965 को देहांत हुआ था।
इस अवसर पर मुरारी शर्मा, मनोहर लाल, इंद्र सिंह ठाकुर, मान सिंह राणा, गंगा राम, प्रवीण शर्मा तथा हरमीत सिंह ने भी स्वतंत्रता सेनानी भाई हिरदा राम के जीवन पर प्रकाश डाला।