कांग्रेस ने भ्रष्टाचार के लिए बनाई सब कमेटी, पर पकड़ी जाती है : त्रिलोक कपूर

कांग्रेस ने भ्रष्टाचार के लिए बनाई सब कमेटी, पर पकड़ी जाती है : त्रिलोक कपूर
शिमला : 
भाजपा प्रदेश महामंत्री त्रिलोक कपूर ने कहा कि अगर प्रदेश में कोई भ्रष्टाचारी है तो वह कांग्रेस के नेता और उनके मुखिया है, कांग्रेस राज में पूरे प्रदेश में भ्रष्टाचार तेज गति से चल रहा है और उसके ऊपर कोई लगाम नहीं है। इस भ्रष्टाचार के चलते कई सरकारी अफसरो ने अपनी जान भी गवा दी है और कई अधिकारी डेपुटेशन पर भी जा रहे हैं, क्योंकि जो लोग भ्रष्टाचार नहीं करना चाहते उनको भी जबरन रूप से करने पर मजबूर किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि सुक्खू सरकार केंद्र सरकार द्वारा वित्त पोषित फिना सिंह योजना में भी भ्रष्टाचार के रास्ते तलाश रही है। अलग-अलग तरीकों से पैसे इधर-उधर करने का प्रयास किया जा रहा है, सुक्खू सरकार ने टेंडर की शर्तों में जो हेर-फेर कर रही है उससे प्रदेश को करोड़ों की चपत लग रही हैं। ऐसा प्रतीत होता है कि प्रदेश सरकार ने एक भ्रष्टाचार पर सब कमेटी बना रखी है जो इस कार्य को सफाई से करने का प्रयास करें पर अफसोस वह भी पकड़ी जाती है। 
कपूर ने कहा की ज्वाइंट वेंचर पर रोक लगा कर सुक्खू सरकार एक तरफ नियमों की धज्जियां उड़ा रही है तो दूसरी तरफ टेंडर प्रक्रिया से बहुत से बड़ी कंपनियों को बाहर का रास्ता दिखा रही है। जिसकी वजह से कई कंपनियां टेंडर प्रक्रिया से बाहर हो गई और टेंडर का कंपटीशन घट गया। पहले से निर्धारित खेल इसके बाद शुरू हुआ और सरकार की ही चहेती कंपनियों ने मिल जुल कर खेल शुरू कर दिया है। इसी का नतीजा है कि फिना सिंह प्रोजेक्ट के जिस टेंडर की कीमत 297 करोड़ थी उसके लिए मिनिमम बिड 304 रुपए करोड़ के ऊपर आई है। सरकार इन्हीं कंपनियों को अब काम देकर प्रदेश को करोड़ों की चपत लगाएगी। यह भी सूचना आ रही ही कि जिन कंपनियों का सरकार साथ दे रही है, जिन्हें ऐन- केन-प्रकारेण यह प्रोजेक्ट सौंपना चाहती है उनका डैम बनाने का पहले कोई अनुभव ही नहीं है। हालांकि यह सरकार फिनाइल बेचने वाली कंपनी से नर्सों की भर्ती करवाने का हुनर रखती है, जिस पर माननीय उच्च न्यायालय द्वारा सवाल उठाया जा चुका है।ऐसे में सरकार द्वारा इस तरह से केंद्र सरकार द्वारा दी जा रही आर्थिक सहायता भी अपने चहेतों को लाभ देने में लुटाई जा रही है। इसके पहले सरकार पेखुवेला सोलर प्रोजेक्ट्स में दोगुना कीमत पर बनवाया और इसी चक्कर में विमल नेगी की जान भी गई।