हिमाचल सरकार द्वारा महिलाओं का उत्थान किया जा रहा सुनिश्चित
जिला सिरमौर में प्रदेश सरकार की महिला कल्याण के लिए समर्पित सभी योजनाआंे का सफलतापूर्वक कार्यान्वयन कर पात्र महिलाओं को लाभान्वित किया जा रहा है। प्रदेश सरकार की प्रमुख योजना “इंदिरा गांधी प्यारी बहना सुख सम्मान निधि योजना“ के तहत जिला सिरमौर में 4128 पात्र महिलाओं को लाभान्वित किया गया है। इस योजना के अंतर्गत 18 वर्ष से अधिक आयु की सभी पात्र महिलाओं को 1500 प्रतिमाह प्रदान किए जा रहे हैं। जिला सिरमौर में इस योजना के तहत अब तक 75425 आवेदन प्राप्त हुए है जिसमें से़़़ 4128 आवेदन पत्र स्वीकृत किए गए हैं।
इस संदर्भ में जिला सिरमौर के जमटा की अंकिता जो अपने अभिभावकों के साथ रहती है और अपनी छोटी-छोटी जरूरतों के लिए अपने परिजनों पर निर्भर है। अंकिता का कहना है कि इंदिरा गांधी प्यारी बहना योजना से उनकी अपने परिजनों पर निर्भरता कम हुई है। जिसके लिए वह मुख्यमंत्री श्री सुखविंद्र सिंह सुक्खू जी की आभारी है।
इसी प्रकार, जिला सिरमौर के नाहन की अलिशा ने हिमाचल सरकार का 18 से 60 वर्ष की आयु की महिलाओं को 1500 रुपये प्रतिमाह प्रदान करने की गारंटी को पूर्ण कर इंदिरा गांधी प्यारी बहना सुख सम्मान निधि योजना लागू करने पर आभार व्यक्त किया।
जिला सिरमौर के जमटा की निशा भी हिमाचल सरकार का इंदिरा गांधी प्यारी बहना सुख सम्मान निधि योजना आरंभ कर जिले व राज्य की महिलाओं को लाभान्वित करने के लिए धन्यवाद व्यक्त किया।
महिला सशक्तिकरण के बडे लक्ष्य को प्राप्त करने में हर प्रयास का अहम योगदान है। हिमाचल सरकार के इन प्रयासों को अमलीजामा पहनाने के लिए मुख्यमंत्री कन्यादान योजना का प्रभावी क्रियान्वयन सुनिश्चित किया जा रहा है। जिला सिरमौर में मुख्यमंत्री कन्यादान योजना के तहत गत वर्ष 170 लड़कियों के विवाह के लिए 90 लाख 27 हजार जबकि वर्तमान वित्त वर्ष में इस योजना के तहत 93 लाख की राशि स्वीकृत की गई है, जिसके तहत अब तक 61 लाभार्थियों को 31 लाख 11 हजार रुपए की राशि प्रदान की गई है।
जिला सिरमौर के नाहन की रूपाली का विवाह 11 जुलाई, 2024 को मुख्यमंत्री कन्यादान योजना के माध्यम से प्राप्त 50 हजार की राशि के कारण हो पाई। रूपाली की माता व बहन शिवानी ही उनके परिवार में है जिनका कहना है कि मुख्यमंत्री कन्यादान योजना से उन्हे बडा सहारा प्राप्त हुआ है।
सिरमौर जिला में बेटियों के उत्थान के लिए जिले की निसहाय महिलाओं या अनाथ बच्चों के अभिभावकों को उनके दो नाबालिग बच्चों की 18 वर्ष की आयु पूर्ण करने तक पालन-पोषण हेतु बेटी है अनमोल योजना के तहत गत वित्त वर्ष में 76 लाख रुपए की राशि स्वीकृत की गई है।
प्रदेश का समग्र एवं समावेशी विकास सुनिश्चित करने और महिलाओं को स्वावलंबी बनाने के लिए राज्य सरकार द्वारा स्वयं सहायता समूह की ग्रामीण महिलाओं के लिए हिमाचल प्रदेश ग्रामीण आजीविका मिशन के तहत हिम ईरा ब्रांड नामक विक्रय केंद्र आरंभ किए गए है। जिला सिरमौर की स्वयं सहायता समूह की महिलाओं को उनके उत्पाद का उचित मूल्य तथा उनकी आर्थिकी को हिम ईरा विक्रय केन्द्रों के माध्यम से सुदृढता प्राप्त हो रही है।
जिला सिरमौर के ग्राम पंचायत त्रिलोकपुर की दुर्गा स्वंय सहायता समूह ने त्रिलोकपुर मंदिर के परिसर में हिम ईरा विक्रय केन्द्र स्थापित करने में सहायता प्रदान करने और ग्रामीण महिलाओं की आर्थिकी को सुदृढ करने के लिए प्रदेश सरकार का धन्यवाद किया।