गुरु नानक देव जी की शिक्षाओं को जीवन में आत्मसात करें: मुख्यमंत्री
अक्स न्यूज लाइन .. शिमला, 27 नवम्बर
मुख्यमंत्री ठाकुर सुखविंदर सिंह सुक्खू ने गुरु नानक देव जयंती के अवसर पर आज यहां गुरूद्वारा साहिब श्री गुरु सिंह सभा में शीश नवाया। इस अवसर पर शिरोमणि गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी ने मुख्यमंत्री को सिरोपा भेंट किया।
मुख्यमंत्री ने गुरु नानक देव जयंती पर लोगों को शुभकामनाएं दीं और कहा कि गुरु नानक देव जी ने अपना सम्पूर्ण जीवन समाज सेवा के लिए समर्पित किया। उन्होंने कहा कि गुरु नानक देव जी द्वारा दी गई शिक्षाओं का वर्तमान में भी विशेष महत्व है और लोगों से आग्रह किया कि इन शिक्षाओं को अपने जीवन में आत्मसात करें।
मुख्यमंत्री ने कहा कि सिख धर्म के संस्थापक व पहले सिख गुरु गुरुनानक देव जी समाज के कमजोर वर्गाें के उत्थान के लिए जीवन भर अथक प्रयास करते रहे।
इस अवसर पर मुख्यमंत्री ने मेधावी विद्यार्थियों को सम्मानित किया और कहा कि प्रदेश सरकार ने डॉ. यशवंत सिंह परमार विद्यार्थी ऋण योजना आरम्भ की है जिसके तहत विद्यार्थियों को उच्च शिक्षा प्राप्त करने के लिए 20 लाख रुपये तक का ऋण एक प्रतिशत ब्याज पर उपलब्ध करवाया जा रहा है।
इस अवसर पर मीडिया कर्मियों को सम्बोधित करते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि वह उपयुक्त समय पर कांग्रेस पार्टी के उच्च पदाधिकारियों से परामर्श के उपरांत मंत्रिमण्डल के विस्तार का निर्णय लेंगे। उन्होंने कहा कि प्रदेश सरकार ने राज्य में कार्बन उत्सर्जन को कम करने के लिए 31 मार्च, 2026 तक हिमाचल को हरित ऊर्जा राज्य बनाने का लक्ष्य निर्धारित किया है। इस लक्ष्य को हासिल करने के उद्देश्य से प्रदेश सरकार द्वारा 680 करोड़ रुपये की राजीव गांधी स्वरोजगार स्टार्ट-अप योजना के प्रथम चरण की शुरूआत की गई है। इसके तहत युवाओं को आय का साधन प्रदान करने के लिए ई-टैक्सी खरीद पर 50 प्रतिशत सब्सिडी का प्रावधान है।
उन्होंने कहा कि योजना के तहत परिवहन विभाग को लगभग 70 ऑनलाइन आवेदन प्राप्त हुए हैं, जिससे योजना के प्रति लोगों का सकारात्मक रवैया प्रदर्शित होता है। मुख्यमंत्री ने कहा कि दूसरे चरण के तहत कृषि क्षेत्र में स्टार्ट-अप को बढ़ावा देने के लिए योजना लाई जाएगी।
इस अवसर पर विधायक हरीश जनारथा और सुदर्शन बबलू, मुख्यमंत्री के राजनीतिक सलाहकार सनील शर्मा, मुख्यमंत्री के प्रधान सलाहकार (मीडिया) नरेश चौहान व अन्य गणमान्य व्यक्ति भी उपस्थित थे।
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