प्रदेश सरकार विश्वविद्यालय की जमीन हड़पना करे बंद : आकाश नेगी

प्रदेश सरकार विश्वविद्यालय की जमीन हड़पना करे बंद : आकाश नेगी
अक्स न्यूज लाइन, 2 जनवरी : अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद के प्रदेश मंत्री आकाश नेगी ने बयान जारी करते हुए कहा है कि पर्यटन की दृष्टि से प्रदेश सरकार द्वारा जिला कांगड़ा को पर्यटन की राजधानी बनाये जाने का विद्यार्थी परिषद स्वागत करती हैं , जिस कारण  हिमाचल में एक या दो स्थानों में आ रहे पर्यटकों को अन्य विकल्प मिलेगा और पूरा हिमाचल पर्यटन की दृष्टि से तरक्की करेगा। लेकिन इसके एवज में  वनखण्डी में प्रस्तावित चिड़िया घर के लिए पालमपुर स्थित गोपालपुर के चिड़िया घर से वन्य प्राणियों को वहाँ शिफ्ट करने का निर्णय तो कभी टूरिजम विलेज के लिए 100 एकड़ यानि 2600 कनाल जमीन *कृषि विश्वविद्यालय पालमपुर* से लेने का निर्णय लिया जा रहा है। 
                        विद्यार्थी परिषद इस निर्णय का कड़ा विरोध करती है हम देखते हैं कि हिमाचल के अंदर चाहे वह केंद्रीय विश्वविद्यालय धर्मशाला की बात की जाए चाहे वह हिमाचल का दूसरा प्रदेश विश्वविद्यालय सरदार पटेल विश्वविद्यालय मंडी की बात की जाए जब से हिमाचल में नई सरकार आई है उस समय से ही सरदार पटेल विश्वविद्यालय क्या दायरा घटना वह केंद्रीय विश्वविद्यालय के लिए 30 करोड़ की धनराशि प्रदेश सरकार द्वारा न देना कहीं ना कहीं प्रदेश की सरकार का हिमाचल की शिक्षण संस्थानों के लिए नकारात्मक रवैया दिख रहा है। चाहे कृषि विश्वविद्यालय पालमपुर औद्यानिकी एवं वानिकी  विश्वविद्यालय नौणी के लिए विधेयक पारित करने की बात करे प्रदेश सरकार का हर निर्णय शिक्षण संस्थानों की स्वायत्तता को खत्म करने वाला है |
        हम सभी जानते हैं कि विश्वविद्यालय की 100 एकड़ जमीन को टूरिज्म विलेज के नाम पर कृषि विश्वविद्यालय से लेने का निर्णय लिया जा रहा है, विद्यार्थी परिषद प्रदेश सरकार को यह बताना चाहती है कि यह जमीन  विश्वविद्यालय में पढ़ने वाले विद्यार्थियों को  साइंटिस्ट व शोधार्थियों के शोध के काम  में आने वाली जमीन है जिसके कारण कृषि के क्षेत्र में नए-नए प्रयोग किस प्रकार से किए जाए। हिमाचल कृषि भूमि के रूप में अपना नाम कमाए ऐसे प्रयोग उस जमीन पर होते है। विद्यार्थी परिषद प्रदेश सरकार से यह मांग करती है कि टूरिज्म विलेज के नाम पर कृषि विश्वविद्यालय पालमपुर से 100 एकड़ जमीन को विश्वविद्यालय से ना लिया जाए अपितु इसके अलावा टूरिज्म विलेज के लिए किसी अन्य स्थान पर ऐसे जमीन को चिन्हित किया जाए जो उपयोग में नहीं है। जिसके कारण कृषि विश्वविद्यालय में पढ़ रहे छात्रों को अपनी पढ़ाई करने में  कोई असुविधा नहीं होगी और पालमपुर में कोई अन्य स्थान भी टूरिज्म विलेज व टूरिज्म के   नाम से उन्नत होगा।